World Hearing Day 2024: वर्ष 2024 का विषय है “मानसिकता बदलना: आइए कान और सुनने की देखभाल को सभी के लिए वास्तविकता बनाएं!”।

हर साल 3 मार्च को World Hearing Day (Vishwa Shravan Divas) मनाया जाता है। इस दिन का उद्देश्य लोगों में बहरेपन और सुनने की क्षमता कम होने से बचाव के तरीकों के बारे में जागरूकता पैदा करना है। यह कान और सुनने की देखभाल को दुनिया भर में बढ़ावा देने का भी प्रयास करता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) हर साल World Hearing Day के लिए थीम तय करता है और वर्ष 2024 के लिए थीम है “मानसिकता बदलना: आइए कान और सुनने की देखभाल को सभी के लिए वास्तविकता बनाएं!” (Mansikta badalna: Aayein kaan aur sunne ki dekhbal ko sabhi ke liye sachchai banaein!)। WHO के अनुसार, यह थीम जागरूकता बढ़ाने और जानकारी साझा करने के माध्यम से सामाजिक भ्रांतियों और कलंक की मानसिकता से उत्पन्न होने वाली चुनौतियों से पार पाने पर ध्यान केंद्रित करेगा। इस कार्यक्रम को जनता और स्वास्थ्य देखभाल प्रदाताओं दोनों को लक्षित किया जाएगा।
कानों को साफ रखना कान की देखभाल का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। हालांकि, जब इसे सही तरीके से नहीं किया जाता है, तो इससे अनचाहे चोट लग सकती है। आपके कानों को साफ और सुरक्षित रखने में मदद के लिए, हमारे पास CK Birla Hospital, Gurugram में सलाहकार – एलर्जी और ईएनटी विशेषज्ञ डॉ विजय वर्मा (Dr. Vijay Verma) के कुछ सुझाव हैं।
कान साफ और सुरक्षित रखने के टिप्स

- ईयरबड्स का इस्तेमाल न करें (Earbuds ka istemaal na karein): कई बार कान का मैल (kaam ka mail) अपने आप बाहर निकल आता है। कान की नहर (canal) में रुई के फाहे (rui ke fahे) या किसी अन्य बाहरी चीज से कान साफ करने के(chhodv) का विरोध करना महत्वपूर्ण है। अगर किसी चीज को कान की नहर में डाला जाता है, तो नाज़ुक कान का पर्दा (nazuk kaan ka parda) और कान की नहर की परत (canal ki parat) को नुकसान पहुंच सकता है।
- शॉवर में सावधान रहें (Shower mein savdhaan rahein): शॉवर लेते समय पानी को अपने कानों में न जाने दें। पानी जमा होने से बने नम वातावरण (nam vatavaran) में बैक्टीरिया और फंगस (fungus) पनपने के लिए एकदम सही वातावरण मिल सकता है। जरूरत पड़े तो ईयरप्लग्स (earplugs) इस्तेमाल करें, या पानी को तुरंत निकालने के लिए अपने सिर को झुकाएं।
- डॉक्टर की सहायता लें (Doctor ki sahaayta lein): यदि आपको कोई अजीब लक्षण दिखाई दें, जैसे कि असुविधा (asuwidha), सुनने की क्षमता में तेजी से बदलाव (sunne ki kshamta mein tez se badlav), या कान में भारीपन (kaan mein bhaaripan), तो तुरंत ईएनटी विशेषज्ञ (ENT visheshagya) से सहायता लेना महत्वपूर्ण है। ये लक्षण किसी अंतर्निहित समस्याओं जैसे नस कमजोर होना (nas kamzor होना) या संक्रमण (sankraman) की ओर इशारा कर सकते हैं।
- कोमल सफाई का अभ्यास करें (Komal safai ka abhyas karen): यदि कान के मैल (kaan ke mail) का बहुत अधिक जमाव हो जाए, तो सुरक्षित और प्रभावी तरीके से कान साफ करने के बारे में ईएनटी डॉक्टर से बात करना सबसे अच्छा है। हालांकि, यह सबसे अच्छा है कि विशेषज्ञ ही कान के मैल को सुरक्षित रूप से निकालें।
- ईयरफोन का कम इस्तेमाल करें (Earphone ka kam istemaal karen): ईयरफोन कान के मैल को ईयर कैनाल में गहराई तक धकेल सकते हैं, जिससे संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है और संभावित रूप से सुनने की क्षमता कम हो सकती है।
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